VEDIC TREE
This is a Vedic Astrology blog created by well known astrologer Gajendra Sharma.
आंखों के नीचे काले घेरे हटाने हों, तो पहनें ये रत्न
आंखों के बिना दुनिया किसी काले पर्दे से ज्यादा कुछ नहीं है। इसलिए आंखों का खयाल रखना आवश्यक ही नहीं, बल्कि अति आवश्यक है। आज के भागदौड़ भरे जीवन में फास्ट फूड खाने पर निर्भरता, देर रात तक जगना, कम सोना, कई-कई घंटों तक कंप्यूटर-लैपटॉप या टीवी की सामने रहना आदि कुछ ऐसी आदतें हैं जिसने नेत्र रोगों को हर घर में आम बना दिया है। आई-ड्राइनेस हो या आंखों की रोशनी कम होना, आम होने के बावजूद ये परेशानियां उत्पन्न करती हैं। फिर चश्मे और दवाइयों के सिवा और कोई दूसरा उपाय नहीं रह जाता। ऐसे में ज्योतिष शास्त्र की रत्न चिकित्सा आपकी बहुत मदद कर सकता है। यहां हम आपको कुछ ऐसे रत्नों के विषय में बता रहे हैं जो आपकी आंखों की परेशानियों को दूर करने में सक्षम माने जाते हैं। ब्लैक एजेट : ज्योतिष शास्त्र की मानें तो यह एक ऐसा रत्न है जिसे अगर नियमित रूप से पलकों पर हल्के हाथों से रगड़ा जाए तो इससे आंखों के नीचे रक्त-संचार बढ़ता है और धीरे-धीरे काले घेरे की समस्या दूर हो जाती है। साथ ही इससे आंखों की रोशनी भी बढ़ती है। ऐसा माना जाता है कि इससे सभी प्रकार के नेत्र रोग दूर होते हैं और अगर आंखें स्वस्थ हों तो भी उसमें किसी प्रकार की परेशानी नहीं आती। इसे अंगूठी के रूप में पहनने से भी लाभ होता है। एक्वामरीन : सफेद, हल्का हरा, हलका नीला रंगों में मिलने वाला यह रत्न आई-ड्राइनेस या कहें आंखों का सूखापन दूर करने में चमत्कारी रूप से लाभकारी है। इसके अलावा इससे आंखों की एलर्जी, जलन, खुजली, पानी आने जैसी समस्या भी दूर होती है। आई-ड्राइनेस दूर करने के लिए रातभर इस स्टोन को पानी में रखकर सुबह इस पानी से छींटे मारते हुए आंख धुलना चाहिए। टाइगर जैस्पर : आंखों की रोशनी बढ़ाने में यह विशेष रूप से प्रभावकारी माना जाता है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार इसे अंगूठी के रूप में पहनने से यह आंखों की मांसपेशियों को लचीला बनाता है और वहां रक्त-संचार बढ़ाता है। इससे आंखों की रोशनी बढ़ती है, साथ ही आंखों में चमक भी आती है। जेड : आंखों की गंभीर बीमारियों को दूर करने में यह चमत्कारी रूप से असरदार रत्न है। इसे माला के रूप में पहनने से रोग प्रतिरोधक क्षमता (इम्यून सिस्टम) बढ़ती है, इसलिए मौसम में हुए बदलावों के कारण हुई आंखों की एलर्जी (कंजक्टिवाइटिस आदि) जैसी नेत्र परेशानियों को दूर करने में यह बेहद कारगर है। साथ ही आंखों की रोशनी बढ़ाता है, चश्मा हटाने में भी लाभदायक है। फ्लूराइट : यह एक ऐसा रत्न है जो बढ़ती उम्र में भी आंखों की रोशनी बढ़ा सकता है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार इसका जुड़ाव मस्तिष्क के तंत्रिका तंत्र से होता है, इसलिए लगभग सभी प्रकार के नेत्र रोगों को ठीक कर पाने में यह सक्षम है। यहां तक कि इसे पहनने से काला मोतिया भी ठीक हो सकता है।
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